|| द्वादश ज्योतिर्लिंग स्तोत्र ||
सौराष्ट्रे सोमनाथं च श्रीशैले मल्लिकार्जुनम्, उज्जयिन्यां महाकालं ओमकारं
ममलेश्वरम् ||
अर्थात: सौराष्ट्र
(गुजरात) में श्री सोमनाथ, श्रीशैल पर्वत (आन्ध्र प्रदेश)
पर श्री मल्लिकार्जुन, उज्जैन (मध्य प्रदेश) में श्री महाकालेश्वर, ओंकारेश्वर ममलेश्वरम|
परल्यां वैद्यनाथं च डाकिन्यां भीमशंकरम्, सेतुबन्धे तु रामेशं नागेशं
दारुकावने ||
अर्थात: परली
(महाराष्ट्र) में श्री वैद्यनाथ, डाकिनी (महाराष्ट्र) में श्री भीमाशंकर, सेतुबंध (तमिलनाडु) पर श्री रामेश्वरम, दारुकावन (गुजरात) में श्री नागेश्वरम|
वारणस्यां तु विश्वेशं त्र्यम्बकं गौतमी तटे, हिमालय तु केदारं घुश्मेशं च
शिवालये ||
अर्थात: वाराणसी
(उत्तर प्रदेश ) में श्री विशवनाथ, गौतमी नदी (महाराष्ट्र) के तट
पर श्री त्र्यम्बकेश्वर,
हिमालय (उत्तराखंड)
पर श्री केदारनाथ और शिवालय (महाराष्ट्र) में श्री घृष्णेश्वर, में आप विराजमान हैं ।
एतानि ज्योतिर्लिंगानि सायं प्रातः पठेन्नरः, सप्तजन्मकृतं पापं स्मरणेन
विनश्यति ||
अर्थात: जो नर
प्रतिदिन प्रातः और संध्या काल के समय इन बारह ज्योतिर्लिंगों के नामो का पाठ करते
है, इन
ज्योतिर्लिंगों के स्मरण-मात्र से उनके सात जन्मों के पापों का विनाश हो जाता है |
जो नर प्रतिदिन प्रातः और संध्या काल के समय इन बारह ज्योतिर्लिंगों के नामो का पाठ करते है, इन ज्योतिर्लिंगों के स्मरण-मात्र से उनके सात जन्मों के पापों का विनाश हो जाता है |
ReplyDeleteThese excellent verses of the Lord Shiva destroy the sins of seven births of a man so one should worship Lord S5hiva through these mantras.
ReplyDeleteThese excellent verses must be sung by the devotees everyday to please the Lord Shiva is god of gods. No man can progress without religion so one should follow the religious scriptures.
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